भगवान्

भगवान्

कौन से कपडे पहनूँ ?
जिससे मै अच्छा लगूँ |
यह तो हम ,
हर रोज़ सोचते है |
पर कौन सा कर्म करूँ ,
जिससे मै भगवान् को ,
अच्छा लगूँ |
यह कोई कभी नहीं सोचता |

Bk Shivani

कमजोर

कमजोर

साली अपने जीजा से : प्यार कब होता है ?]
जीजा : प्यार तब होता है जब राहू केतु,
और शनि की दशा खराब हो,
आपका मंगल कमजोर हो,
और भगवान् मजे लेने के मूड में हों |

हिसाब

हिसाब

पति ने पत्नी से कहा पिछले महीने का हिसाब दो,
पत्नी ने हिसाब लिखना शुरू किया और बीच बीच,
में लिखने लगी भ. जा. कि. गे .
800भ. जा. कि. गे .
2000भ. जा. कि. गे .
500भ. जा. कि. गे .
पति ने पूछा ये भ. जा. कि. गे की क्या है ,
पत्नी : भगवान् जाने किधर गए  |

भाग्य

भाग्य

अगर भगवान् हमारा भाग्य
लिखते तो
वो सबसे बढ़िया भाग्य होता।
हमारा भाग्य हमारे कर्म, हमारी
मुक्त इच्छा द्वारा निर्मित होता है।
भगवान् की इच्छा से नहीं।

BK SHIVANI