निंदा से घबराकर अपने लक्ष्य को ना छोड़े क्योकि लक्ष्य मिलते ही निंदा करने वालो की राय बदल जाती है |
उपवास हमेशा अन्न का ही क्यों , कभी लालच ,निंदा ,लोभ क्रोध , काम ,झूठ ,लोभ और कुविचार का भी करना चाहिए | Bk Shivani
एक भी शिकायत ना कर , किसी की निंदा ना कर , सिर्फ एक दिन बिता कर देखे , शांति और खुशी ढूंढनी नहीं पड़ेगी | Bk Shivani
अपने धर्म का सम्मान और दुसरो के धर्म की , निंदा करना किसी धर्म में नहीं बताया गया हैं I Smarat Ashoka
खुश होना है तो तारीफ सुनिए और बेहतर होना है तो निंदा. GOOD MORNING
दुखी करने वाले इन चार चीजो से दूर रहिये. आलोचना करना, शिकायत करना, निंदा करना और तुलना करना.