किसी की भी कमजोरी का चिंतन करना अर्थात उस कमजोरी का अपने जीवन में आवाह्न करना | हमारी सोच हमारे व्यक्तित्व का निर्माण करती है | इसलिए सोचने से पहले सोचिये |
सिर्फ एक बात याद रखो मै और मेरा बाबा फिर हमारी जीत निश्चित है। ... यदि हम अच्छाई पर अडिग रहे , क्योंकि अच्छाई शक्ति है और बुराई कमजोरी। ..... तभी सच्चा अकेला चलता है और झूठ को समूह की आवश्यकता पड़ती है |